जिलाधिकारी शशांक शुभंकर ने राजगीर में किया बैठक, राजगीर के जंगलों और पहाड़ों पर ड्रोन से रखी जाएगी नजर,अलर्ट मोड में रहेंगे अग्निशमन वाहन और कर्मी


राजगीर के जंगल में फिर इसबार भीषण आग लगी की घटना की घटना घटी है।और इस आग लगी की घटना में काफी संख्या में पेड़ पौधे जलकर नष्ट हो गए हैं।और जंगली जानवरों की भी मौत हुई है।घटना के बाद राजगीर के इंटरनेशनल कन्वेंशन हॉल में जिलाधिकारी शशांक शुभंकर की अध्यक्षता में बैठक आयोजित किया गया।बैठक में वन विभाग,आयुध निर्माणी नालंदा,अनुमंडल प्रशासन,विधुत विभाग, पीएचडी विभाग,स्वास्थ्य विभाग,अग्निशमन विभाग,मनरेगा विभाग,पंचायती राज विभाग,शिक्षा विभाग, ग्रामीण विकास विभाग, पशु एवं मत्स्य संसाधन विभाग, सहकारिता विभाग, सूचना जनसंपर्क विभाग,जीविका ,पुलिस पदाधिकारीयों सहित अन्य विभागों के पदाधिकारी शामिल हुए।

बैठक में जिलाधिकारी शशांक शुभंकर ने कहा कि फिर इसबार जंगल में आग लगी की की घटना घटी है।और इस आग लगी की घटना में काफी नुकसान हुआ है। पिछले वर्ष भी वैभारगिरि पर्वत में आग लगी कि घटना घटी थी।और तिन दिनों तक आग लगा हुआ था। जिसमें काफी नुकसान हुआ था।और प्रधानमंत्री कार्यालय से भी आगलगी की घटना को लेकर लगातार पुछताछ की जा रही थी।जिलाधिकारी ने कहा कि इस बार बार यह आग आयुध कारखाना से शुरू हुआ है।और उसके बाद जंगल में आग फैली।मौके पर जिलाधिकारी ने आयुध कारखाना से आए संबंधित पदाधिकारीयों से आग लगने की घटना को लेकर पुरी तरह पुछताछ किया।उन्होंने कहा कि आयुध कारखाना के एरिया में ही शराब बनाने वाला चुल्हा मिला है।इस पर आपलोगो के द्वारा क्या करवाई किया गया है।

जिलाधिकारी ने आयुध कारखाना के पदाधिकारियों से पुछा कि आपके यहां कितना गार्ड है।मौके पर आयुध कारखाना के पदाधिकारियों गार्ड की संख्या भी नहीं बता पाए। मौके पर वन विभाग के डीएफओ राजकुमार एम ने कहा कि जो आयुध कारखाना में वाच टावर है उसमें भी सुरक्षा कर्मी नहीं दिखते हैं।इतना तक कहा गया है अगर वह फॉरेस्ट एरिया का ठीक से देखभाल नहीं किया जा रहा है तो वह विभाग को वापस कर दे।डीएफओ ने कहा कि आग लगी की घटना से काफी पेड़ पौधे और जंगल में रहने वाले जानवरों की मौत हुई है।वहां का गार्ड भी कोई ध्यान नहीं दिया है।मौके पर जिलाधिकारी शशांक शुभंकर ने आयुध कारखाना के पदाधिकारीयों को कहा कि अगर आप लोगों से काम नहीं होता है तो हम लोग रक्षा मंत्रालय को भी पत्र लिखेंगे।ताकि संबंधित समस्याओं का निदान हो सके।पिछले आग लगी की घटना को लेकर प्रधानमंत्री कार्यालय से भी लगातार पूछा जा रहा था।

जिलाधिकारी ने कहा कि सुरक्षा पर सवाल उठ रहा है।आप लोग एक्शन प्लान बनाकर दीजिए। जिलाधिकारी ने कहा कि पिछले भाग 4 किलोमीटर में आग लगी की घटना घटी थी।और जिला प्रशासन और वन विभाग के टीम के द्वारा काफी मस्कत करने के बाद आग पर काबू पाया गया था।थोड़ी सी लापरवाही होता है तो आग और भी तेज गति से आगे बढ़ जाता है। शराब से संबंधित कार्रवाई को लेकर जिलाधिकारी ने मौके पर अनुमंडल पदाधिकारी कुमार ओमकेश्वर, डीएसपी प्रदीप कुमार को दिशा निर्देश दिये है।साथ ही सुरक्षा के दृष्टिकोण से भी आयुध कारखाना का जो भी जंगल से जुड़े बाउंड्री वॉल का जो एरिया है उसको भी जांच करने का दिशा निर्देश जिलाधिकारी ने मौके पर दिया है। वहीं डीएसपी प्रदीप कुमार ने कहा कि शराब से जुड़ी सूचना आप दीजिए संबंधित कारवाई  किया जाएगा। मौके पर वन क्षेत्र पदाधिकारी अरुण कुमार ने भी कहा कि हम लोगों ने भी शराब पकड़े हैं।

जिलाधिकारी शशांक शुभंकर ने कहा कि पिछले वर्ष 4 किलोमीटर तक आग फैला था जो वैभारगिरि पर्वत से वन विभाग के गेस्ट हाउस तक एवं पांडु पार्क, ब्रह्मकुंड, जरा देवी मंदिर, जरासंध अखाड़ा, वीरायतन, मार्क्सवादी नगर, सीआरपीएफ कैंप तक आग फैल गई थी।और आग पर काबू पाया गया था।जिलाधिकारी ने कहा कि पिछले वर्ष आग लगी की घटना को देखते हुए वन विभाग के द्वारा 12 धावा दल बनाया गया था और प्रत्येक ढाबा दल में 15 वनकर्मी रहेंगे।और इसको लेकर भी जिलाधिकारी ने  वन विभाग के डीएफओ से उन्होंने पूछताछ किया। उन्होंने कहा कि वन विभाग के अलावा अनुमंडल पदाधिकारी के स्तर से 50 मनरेगा मजदूर को भी अलर्ट मूड में रखना है। साथ ही अग्निशमन के 15 गाड़ी और 75 कर्मी को भी रखना है। ताकि आग लगी की घटना की सूचना पाकर यह लोगों को मौके पर भेजा जा सके।मौके पर जिलाधिकारी ने अनुमंडल अग्निशमन पदाधिकारी रवीन्द्र राम से पुछा कि आपके पास कितनी अग्निशमन वाहन और कर्मी है। तो उन्होंने बताया कि पांच बाद आज दो छोटा बहन मौजूद है एवं 32 कर्मी है। जिलाधिकारी ने कहा कि सभी वाहनों में पानी भरकर  रेडी रखेंगे।और सभी वाहनों का ड्राइवर बिल्कुल रेडी अवस्था में रहे।

मौके पर ही अनुमंडल अग्निशमन पदाधिकारी रवीन्द्र राम ने कहा कि राजगीर एवं गिरियक में कई हाइड्रेंट खराब है।और इसको लेकर काफी समस्या हो रही है।और इसको लेकर एक महिना पुर्व ही भौतिक निरीक्षण करके पीएचडी विभाग को इसकी रिपोर्ट दिया गया है।लेकिन अब तक पीएचडी विभाग के द्वारा ठीक नहीं किया गया है।और मौके पर जिला अधिकारी ने पीएचईडी विभाग के पदाधिकारी को इसे तुरंत ठीक करने का दिशा निर्देश दिया है।और साथ ही कार्यपालक अभियंता पीएचईडी को निर्देश देते हुए उन्होंने कहा कि राजगीर एवं गिरियक वन क्षेत्रों में चिन्हित स्थलों पर हाइड्रेंट की व्यवस्था सुनिश्चित करें ,साथ ही जिला अतिथिशाला राजगीर , वन विभाग अतिथिशाला राजगीर ,रेलवे स्टेशन राजगीर ,अनुमंडल कार्यालय राजगीर में शीध्र नया हाइड्रेंट लगाने का भी निर्देश दिए हैं।वहीं मौके पर वन विभाग के डीएफओ से पूछताछ करते हुए कहा कि वन विभाग के द्वारा तीन निगरानी ढाबा दल भी बनाया गया था।उन्होंने पर उन्होंने इसके बारे में जानकारी प्राप्त किया। मौके पर जिलाधिकारी ने कहा कि 22 गांव को चिन्हित किया गया है और इन गांवों में पराली लोग नहीं जलाएं इसको लेकर लोगों को विशेष रूप से अभियान चलाकर जागरूक करना है।उन्होंने यह कार्यक्रम अनुमंडल पदाधिकारी के अध्यक्षता में चलने का दिशा निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि अगर कोई पराली जलता है।

या आग लगी की घटना कहीं होती है तो लोग तुरंत कंट्रोल रूम में फोन करें इसको लेकर 06112-233168 एवं वन विभाग का कंट्रोल रूम का नम्बर 9060135370 एवं 8340432091है।जिलाधिकारी ने कहा कि जंगल एवं पहाड़ों पर कोई आग जलाने का काम नहीं करे इसपर पुरी तरह ध्यान रखा जाए।जिलाधिकारी ने अनुमंडल पदाधिकारी को निर्देश देते हुए उन्होंने कहा कि संवेदनशील तीन प्रखंड के 22 गांवों के जनप्रतिनिधियों एवं वॉलिंटियर्स के माध्यम से निगरानी रखना सुनिश्चित करेंगे, वन विभाग एवं जिला प्रशासन द्वारा ड्रोन कैमरा से भी पहाड़ के ऊपर नजर रखेंगे, होटलों ,घरों में खाना बनाने हेतु अग्नि सुरक्षा का समुचित व्यवस्था सुनिश्चित करेंगे।साथ ही जिलाधिकारी ने कार्यपालक अभियंता विद्युत विभाग को निर्देश देते हुए उन्होंने कहा कि शॉर्ट सर्किट द्वारा लगने वाली आग से बचाव हेतु पॉल,लटके तार को प्राथमिकता के आधार पर पहाड़ी क्षेत्रों में दुरुस्त रखें।वहीं जिलाधिकारी ने संबंधित पदाधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि गिरियक , राजगीर पहाड़ी  के आसपास वाले जंगलों,खेतों में अगलगी से बचाव हेतु गांवों में व्यापक प्रचार प्रसार करना सुनिश्चित करेंगे , तथा स्थानीय ग्रामीणों को आग से बचाव हेतु व्यापक रूप से प्रशिक्षण देना भी सुनिश्चित करेंगे। साथ ही उन्होंने निर्देश देते हुए कहा कि गिरियक एवं राजगीर के संवेदनशील गांवों में जिला पंचायती राज विभाग, कृषि विभाग, सहकारिता विभाग ,मनरेगा,नगर पालक पदाधिकारी अपने-अपने क्षेत्रों में अग्नि सुरक्षा से संबंधित व्यापक रूप से जागरूकता अभियान चलाकर लोगों को जागरूक करना सुनिश्चित करेंगे।वही मौके पर जिलाधिकारी ने आपदा विभाग के पदाधिकारी को दिशा निर्देश देते हुए कहा कि लोगों को जागरूक करने के लिए बैनर पोस्टर भी लगाने का काम करें।





जिलाधिकारी शशांक शुभंकर ने राजगीर में किया बैठक, राजगीर के जंगलों और पहाड़ों पर ड्रोन से रखी जाएगी नजर,अलर्ट मोड में रहेंगे अग्निशमन वाहन और कर्मी जिलाधिकारी शशांक शुभंकर ने राजगीर में किया बैठक, राजगीर के जंगलों और पहाड़ों पर ड्रोन से रखी जाएगी नजर,अलर्ट मोड में रहेंगे अग्निशमन वाहन और कर्मी Reviewed by News Bihar Tak on April 21, 2024 Rating: 5

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