मां सत्या हॉस्पिटल एंड एजुकेशन ट्रस्ट के द्वारा बौद्ध धम्म अभ्यास कार्यक्रम का आयोजन 15 दिवसीय राजगीर थाई मंदिर से शुरू किया गया


मां सत्या हॉस्पिटल एंड एजुकेशन ट्रस्ट के द्वारा बौद्ध धम्म अभ्यास  कार्यक्रम का आयोजन 15 दिवसीय राजगीर थाई मंदिर से शुरू किया गया है। वहीं सभी बाल बौद्ध भिक्षुओं को बंगाल बुद्धिस्ट एसोसिएशन के प्रबंधक निर्भय कुमार सिंह के नेतृत्व में मंदिर में पुरे बौद्ध परंपरा के अनुसार स्वागत एवं स्वल्पाहार कराया गया।इस अवसर पर कार्यक्रम प्रमुख एवं सेक्रेटरी रूपेश भंते ने बताया की राजगीर थाई मंदिर से बौद्ध धम्म अभ्यास  कार्यक्रम का आयोजन 15 दिवसीय किया गया है।

और यह  बाल भिक्षुओं को भगवान बुद्ध से जुड़े स्थलों का भ्रमण कराया जाएगा।एवं इनके इतिहास से रूबरू कराया जाएगा। उन्होंने बताया कि राजगीर, नालंदा ,बोधगया ,वैशाली, कुशीनगर, लुंबिनी नेपाल, सारनाथ वाराणसी यह लोग जाएंगे। उन्होंने बताया कि बौद्ध धम्म अभ्यास का मुख्य उद्देश्य दुखों से मुक्ति प्राप्त करना और निर्वाण प्राप्त करना है। इसके अलावा, यह अभ्यास मन को शांत करने, जागरूकता बढ़ाने, और नैतिक आचरण को विकसित करने में भी मदद करता है।

राजगीर, बिहार जैसे बौद्ध धर्म के महत्वपूर्ण स्थलों पर धम्म अभ्यास का आयोजन, बौद्धों के लिए आध्यात्मिक विकास के लिए एक महत्वपूर्ण अवसर प्रदान करता है। उन्होंने बताया कि बौद्ध धम्म अभ्यास का आयोजन, बुद्ध की शिक्षाओं के अनुसार, आध्यात्मिक विकास और शांति प्राप्त करने के लिए किया जाता है। इसमें ध्यान, शील, और प्रज्ञा का अभ्यास शामिल है। राजगीर, बिहार, बौद्ध धर्म के लिए एक महत्वपूर्ण स्थान है।और यहां बौद्ध भिक्षु और उपासक धम्म का अभ्यास करते हैं।

उन्होंने बताया कि ध्यान और शील के अभ्यास से मानसिक शांति और स्थिरता प्राप्त होती है।बौद्ध धम्म के अनुसार, दुखों का कारण अज्ञान है।और प्रज्ञा के विकास से दुखों से मुक्ति प्राप्त की जा सकती है।बौद्ध धम्म के अभ्यास से व्यक्ति आध्यात्मिक रूप से विकसित होता है और आत्मज्ञान की ओर बढ़ता है। उन्होंने बताया कि धम्म का अर्थ है बनाए रखना  और इसलिए यह बौद्ध विश्वास का केंद्र है क्योंकि यह धर्म को 'बनाए रखता है और बौद्ध यह भी मान सकते हैं कि यह ब्रह्मांड के प्राकृतिक क्रम को बनाए रखता है।

धम्म बुद्ध के कार्यों और शिक्षाओं पर आधारित है।जिसका पालन करने के लिए बौद्धों को प्रोत्साहित किया जाता है।इस अवसर भारत के कई राज्यों के साथ थाईलैंड के भी बौद्ध भिक्षु शामिल थे। सभी बल बौद्ध भिक्षुओं ने भगवान बुद्ध से जुड़े स्थलों पर जाकर पुरे बौद्ध परंपराओं के अनुसार पूजा अर्चना किया।

मां सत्या हॉस्पिटल एंड एजुकेशन ट्रस्ट के द्वारा बौद्ध धम्म अभ्यास कार्यक्रम का आयोजन 15 दिवसीय राजगीर थाई मंदिर से शुरू किया गया मां सत्या हॉस्पिटल एंड एजुकेशन ट्रस्ट के द्वारा बौद्ध धम्म अभ्यास  कार्यक्रम का आयोजन 15 दिवसीय राजगीर थाई मंदिर से शुरू किया गया Reviewed by News Bihar Tak on June 23, 2025 Rating: 5

No comments:

Subscribe Us

Powered by Blogger.